सूरत: कहावत है कि ‘फ्री लंच’ जैसी कोई चीज नहीं होती। इसी तर्ज पर गुजरात के मेहसाणा के रहने वाले एक युवक की मानें तो ‘फ्री कॉफी’ और ‘गिफ्ट’ जैसी भी कोई चीज नहीं होती। मामला ऐसा है कि युवक का अपनी प्रेमिका के साथ रिश्ता टूट गया तो उसने डेटिंग के दौरान उस पर खर्च किए गए पैसे मांगने शुरू कर दिए। पैसे वापस करने में प्रेमिका ने जब असमर्थता जताई तो युवक ने उसके साथ गाली-गलौज शुरू कर दिया। परेशान होकर युवती ने उसके खिलाफ जबरन वसूली का मुकदमा दर्ज करा दिया। अब युवक ने अपने खिलाफ दर्ज केस को रद्द करने के लिए हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है।

दो साल की रिलेशनशिप
मामला सूरत के दो नौजवानों से जुड़ा हुआ है। 27 साल के के एक युवक की 21 साल की लड़की से सोशल मीडिया पर मुलाकात हुई थी। दोनों मेहसाणा के एक ही गांव के रहने वाले हैं और एक ही जाति से संबंध रखते हैं। दोनों के बीच रिलेशनशिप की शुरुआत अप्रैल 2018 से हुई थी। इसी साल फरवरी में दोनों के रिश्ते का अंत भी हो गया।

दरअसल, किसी खास मौके पर युवक ने प्रेमिका को उसके साथ शामिल होने का आग्रह किया था। प्रेमिका ने परीक्षा की तारीख का हवाला देते हुए उसके साथ आने से मना कर दिया। इससे खार खाए प्रेमी ने उस पर कटाक्ष कर दिया और यही बात दोनों के ब्रेकअप का कारण बन गई। इसके बाद युवती ने मार्च में पुलिस थाने का रुख किया और युवक के खिलाफ जबरन वसूली का केस दर्ज करा दिया।

युवती ने थाने में की शिकायत
शिकायत में आरोप लगाया गया है कि कि ब्रेकअप के बाद आरोपी युवक ने लड़की से 50 हजार रुपये की डिमांड करनी शुरू कर दी थी। युवक ने दावा किया कि यह पैसे उसने लड़की के सैर-सपाटे पर खर्च किए हैं। युवती ने स्टूडेंट होने के नाते आय का कोई स्रोत न होने की अपनी असमर्थता बताते हुए पैसे देने से इनकार कर दिया। इस पर युवक ने उसे फोन करके गाली और धमकी देना शुरू कर दिया। इसके बाद युवती ने उसका फोन नंबर ब्लॉक कर दिया।

कुछ दिन के बाद उसे एक धमकी भरा मैसेज मिला कि अगर युवती उसके (आरोपी युवक के) पैसे नहीं लौटाएगी तो वह उसकी तस्वीरों को सोशल मीडिया पर शेयर कर देगा। इसके बाद कुछ दिनों तक युवती ने अपना फोन बंद रखा। हालांकि, युवक अपनी हरकतों से बाज नहीं आया और उसने फिर फोन कर युवती से 60 हजार रुपयों की मांग की।

आरोपों से इनकार
परेशान होकर युवती ने युवक के खिलाफ थाने में एफआईआर दर्ज करा दिया। इसके जवाब में युवक ने गुजरात हाई कोर्ट में अर्जी दाखिल करके एफआईआर को रद्द करने की मांग की है। अपनी अपील में उन्होंने प्राथमिकी को दुर्भावनापूर्ण करार दिया है तथा युवती द्वारा लगाए गए आरोपों से इनकार किया है।

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