नागपुर (IP News). शुक्रवार को महाराष्ट्र राज्य के कैबिनेट मंत्री सुनील बाबू केदार ने कई अहम मुद्दों को लेकर वेस्टर्न कोलफील्ड्स लिमिटेड के सीएमडी मनोज कुमार सहित अन्य उच्चाधिकारियों के साथ बैठक की। यह बैठक डब्ल्यूसीएल मुख्यालय में हुई। बैठक में एचएमएस के नेता और जेबीसीसीआई सदस्य शिवकुमार यादव भी उपस्थित थे।

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श्री यादव ने किसानों के मुद्दे का उठाते हुए कहा कि वर्ष 2012 से महाराष्ट्र राज्य सरकार द्वारा भूमि का मुआवजा क्रमशः 6 लाख, 8 लाख एवं 10 लाख प्रति एकड़ दिया जा रहा है। यह नियम महाराष्ट्र राज्य सरकार द्वारा वर्ष 2012 में लागू किया गया था। 10 साल से इसी दर पर मुआवजा दिया जा रहा है जबकि इन वर्षों में भूमि का बाजार मूल्य कई गुना बढ़ा है। वहीं RFCTLARR (Amendment) एक्ट 2015 के अनुसार भूमि अधिग्रहण पश्चात मुआवजा एवं रोजगार में कई अड़चनें आती हैं, जिससे अधिग्रहण पश्चात भी अधिग्रहित भूमि का कब्जा लेने में कंपनी को वर्षों मशक्कत करनी पड़ती है और परियोजना में अनावश्यक देरी के साथ-साथ किसानों को भी आर्थिक क्षति होती है। किसानों को अधिग्रहित भूमि के बदले क्रमशः 10 लाख, 15 लाख एवं 20 लाख प्रति एकड़ से मुआवजा मिलना चाहिए। श्री यादव ने मंत्री से इस विषय का कैबिनेट में रखने की मांग की। मंत्री सुनील बाबू केदार ने इस मुद्दे को कैबिनेट मीटिंग में रखकर उचित न्याय दिलाने हेतु आश्वस्त किया।

शिवकुमार यादव ने दूसरा अहम मुद्दा उठाया कि एक ही परिवार के तीन भाइयों के नाम पर एक ही भूमि को अलग-अलग खरीदी गई या एक ही भूमि का अलग-अलग बंटवारा किया गया है और सातबारह (खसरा) में तीनों का नाम एक साथ आ रहा है। तीनों के नाम के सामने तीनों की भूमि का अलग-अलग रकबा भी दर्ज आता है, किंतु ऐसे प्रकरणों में वेकोलि भूमि का मुआवजा तो तीनों भाइयों को अलग-अलग देती है पर भूमि के बदले रोजगार केवल किसी एक को ही दिया जाता है। जिसके कारण किसान परिवार में आपसी विवाद बढ़ रहे हैं। शिवकुमार ने मंत्री से आग्रह किया कि इस तरह की तकनीकी खामियों को दूरकर जिन भाइयों की रजिस्ट्री या बँटवारा अलग-अलग है उनका सात बारह भी अलग-अलग होना चाहिए। उक्त मुद्दे को ध्यानपूर्वक समझते हुए सुनील बाबू केदार ने महाराष्ट्र राज्य में विस्तारित वेकोलि क्षेत्र अंतर्गत संबंधित जिला कलेक्टर से मीटिंग कर जल्द से जल्द खामियों को दूर कर उचित कार्यवाही का आश्वासन दिया।

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आज की बैठक मेंआशीष जायसवाल, नागपुर जिला परिषद अध्यक्ष, डॉ. संजय कुमार (वेकोलि निदेशक कार्मिक), अतिरिक्त्त जिला कलेक्टर, जिला परिषद सी.ई.ओ., सावनेर एस.डी.ओ., सावनेर तहसीलदार, रामटेक एस.डी.ओ., पाराशिवनी तहसीलदार, पाराशिवनी बी.डी.ओ., संबंधित ग्रामों के सरपंच एवं संबंधित प्रशासनिक व वेकोलि अधिकारी प्रमुख रूप से उपस्थित रहे।

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