विश्व की सबसे बड़ी अंतरिक्ष दूरबीन को महत्वपूर्ण खोजों के लिए कक्षा में स्थापित किया गया

वेब दूरबीन पृथ्वी से लगभग पंद्रह लाख किलोमीटर दूर, चंद्रमा से करीब चार गुना दूरी पर, सौर कक्षा में अपने गंतव्य तक पहुंचेगी। यह सितारों और ग्रहों से लेकर प्रारंभिक ब्रह्मांड में पहली आकाशगंगाओं की उत्पति तक, मूल स्रोत का पता लगायेगी।

विश्व की सबसे बड़ी और शक्तिशाली अंतरिक्ष दूरबीन को ब्रह्मांड और सौर मंडल से परे पृथ्वी जैसे ग्रहों की उत्पत्ति पर महत्वपूर्ण खोजों के लिए सफलतापूर्वक कक्षा में स्थापित किया गया है। नासा की प्रमुख अंतरिक्ष वेधशाला ने क्रिसमस के दिन जेम्स वेब स्पेस टेलीस्कोप लॉन्च किया ।

वेब दूरबीन पृथ्वी से लगभग पंद्रह लाख किलोमीटर दूर, चंद्रमा से करीब चार गुना दूरी पर, सौर कक्षा में अपने गंतव्य तक पहुंचेगी। यह सितारों और ग्रहों से लेकर प्रारंभिक ब्रह्मांड में पहली आकाशगंगाओं की उत्पति तक, मूल स्रोत का पता लगायेगी। साथ ही यह भी मालूम करेगी कि लगभग 14 अरब साल पहले ब्रह्मांड अपनी उत्पति के समय कैसा दिखता था।

वेब का नाम अपोलो मून लैंडिंग के आर्किटेक्ट वैज्ञानिकों में एक के नाम पर रखा गया है। नासा और यूरोपीय स्पेस एजेंसी और कनाडा की स्पेस एजेंसी से संयुक्त रूप से निर्मित यह दूरबीन सौ गुना ज़्यादा शक्तिशाली है।

नासा के प्रशासक बिल नेल्सन ने वेब को ऐसी टाइम मशीन बताया है जो हमारे ब्रह्मांड और इसमें हमारे स्थान के बारे में बेहतर समझ उपलब्ध कराएगी।

सोशल मीडिया पर अपडेट्स के लिए Facebook (https://www.facebook.com/industrialpunch) एवं Twitter (https://twitter.com/IndustrialPunchपर Follow करें …

  • Website Designing