नई दिल्ली। ऑस्ट्रेलिया में होने वाले टी-20 विश्व कप के स्थगित होने के बाद बीसीसीआई इंडियन प्रीमियर लीग को कराने को लेकर पूरे जोर-शोर से जुटा हुआ है। इसके मद्देनजर आज आईपीएल गवर्निंग काउंसिल की अहम बैठक हुई। इस बैठक में लीग के कार्यक्रम और मैचों की टाइमिंग जैसे अहम मुद्दों पर चर्चा हुई और इस दौरान कई महत्वपूर्ण फैसले लिए गए हैं। भारत सरकार से मंजूरी मिलने के बाद बीसीसीआई ने 19 सितंबर से 10 नवंबर तक लीग के 13 वें संस्करण का आयोजन करने का फैसला किया है। यानी आईपीएल 51 नहीं बल्कि 53 दिनों का होगा। साथ ही 10 नवंबर को फाइनल मैच होने की सूरत में ऐसा पहली बार होगा, जब फाइनल मुकाबला वीकेंड पर नहीं होगा।

एक अन्य महत्वपूर्ण फैसला लेते हुए इंडियन प्रीमियर लीग की संचालन समिति ने यूएई में होने वाले टूर्नामेंट के दौरान कोविड-19 प्रतिस्थापन को मंजूरी दी। इस बार कोरोना वायरस के खतरे को देखते हुए टूर्नामेंट बायो-सिक्योर माहौल में खेला जाएगा। कई गाइडलाइंस का भी ध्यान रखना होगा। इस कारण टूर्नामेंट को दो दिन आगे बढ़ाया गया है।

इसके साथ ही आईपीएल की संचालन परिषद ने टी-20 टूर्नामेंट के लिए सभी प्रायोजकों को बरकरार रखने का फैसला किया जिसमें चीनी कंपनियां भी शामिल हैं।बता दें कि मोबाइल कंपनी वीवो इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) की टाइटल स्पॉन्सर है, जो बोर्ड को कॉन्ट्रैक्ट के तौर पर हर साल 440 करोड़ रुपए देती है। आईपीएल का कंपनी से 5 साल का करार 2022 में खत्म होगा। हाल ही में भारत सरकार ने चीन से विवाद के बाद सुरक्षा के कारण टिक टॉक, यूसी ब्राउजर समेत 59 ऐप्स पर बैन लगा दिया है।

हाल ही में बीसीसीआई के एंटी करप्शन यूनिट (एसीयू) के हेड अजीत सिंह ने कहा था कि आईपीएल में भ्रष्टाचार को लेकर टेंशन लेने की जरूरत नहीं है। इस बार लीग सिर्फ तीन जगहों पर हो रही है, इसलिए मैच फिक्सिंग जैसी चीजों पर नजर रखना ज्यादा आसान होगा। आईपीएल के मैच यूएई में दुबई, अबु धाबी और शारजाह में होंगे, जबकि भारत में 8 वेन्यू होते है।

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