शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक ने आज देश में राष्ट्रीय शिक्षा नीति को लागू करने में मदद देने के लिए सार्थक नाम की पहल का शुभारंभ किया। अमृत महोत्सव समारोह के हिस्से के रूप में की जा रही इस पहल का उद्देश्य गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के जरिए विद्यार्थियों और शिक्षकों की समग्र उन्नति सुनिश्चित करना है।
इस अवसर पर शिक्षा मंत्री ने कहा कि सार्थक नाम की इस पहल से बच्चों और युवाओं का मार्ग प्रशस्त होगा और वे विभिन्न राष्ट्रीय और वैश्विक चुनौतियों का सामने कर सकेंगे। उन्होंने कहा कि इस पहल से वे 21वीं शताब्दी के कौशलों के साथ-साथ भारतीय परम्पराओं, संस्कृति और मूल्य प्रणाली को भी आत्मसात कर सकेंगे। उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति में भी यही बात कही गई है।
शिक्षा मंत्री ने कहा कि सार्थक पहल पर अमल से 25 करोड़ विद्यार्थियों, 15 लाख स्कूलों और 94 लाख शिक्षकों समेत सभी संबंध पक्षों को फायदा होगा। उन्होंने सभी पक्षों से आग्रह किया कि इस योजना का लाभ उठाकर स्कूली शिक्षा के क्षेत्र में आमूल-चूल परिवर्तन का मार्ग प्रशस्त करें।
शिक्षा मंत्री ने राष्ट्रीय शिक्षा नीति के क्रियान्वयन के लिए आज एक उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता की। इसमें उच्च शिक्षा सचिव अमित खरे सहित अनेक वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित हुए।