मीडिया से रूबरू हुए एनसीएल सीएमडी भोला सिंह, कहा- “पर्यावरण प्रथम” के साथ दीर्घकालिक खनन हमारी प्राथमिकता

सीएमडी एनसीएल भोला सिंह ने पत्रकारों के साथ चर्चा के दौरान वित्त वर्ष 2021- 22 में उत्पादन व प्रेषण सहित सभी मानकों पर कंपनी के उत्कृष्ट प्रदर्शन तथा भविष्य की कार्ययोजनाओं पर विस्तार से बात की।

सिंगरौली, 02 अप्रेल। शनिवार को नॉर्दर्न कोलफील्ड्स लिमिटेड (एनसीएल) के मुख्यालय में वार्षिक प्रेस कॉन्फ्रेंस का आयोजन किया गया। इस अवसर पर सीएमडी एनसीएल भोला सिंह ने पत्रकारों के साथ चर्चा के दौरान वित्त वर्ष 2021- 22 में उत्पादन व प्रेषण सहित सभी मानकों पर कंपनी के उत्कृष्ट प्रदर्शन तथा भविष्य की कार्ययोजनाओं पर विस्तार से बात की।

इस दौरान एनसीएल के निदेशक (तकनीकी/संचालन) डॉ अनिंद्य सिन्हा, निदेशक (वित्त एवं कार्मिक) राम नारायण दुबे, निदेशक (तकनीकी/परियोजना एवं योजना) एसएस सिन्हा सहित मुख्यालय के सभी विभागाध्यक्ष उपस्थित रहे।

उन्होंने पर्यावरण संरक्षण, दीर्घकालिक खनन, कंपनी की आगामी एफ़एमसी परियोजनाओं तथा स्थानीय समाज के हितों से संबन्धित अनेक मुद्दों पर मीडिया को जानकारी दी। श्री सिंह ने प्रदूषण के प्रमुख श्रोतों को पहचानने व यहीं पर उसे नियंत्रित करने की दिशा में कंपनी के प्रयासों पर अपनी बात रखी।

उन्होंने बताया कि एनसीएल कुल नौ एफ़एमसी परियोजनाओं पर कार्य कर रही है जिनके वर्ष 2023-24 में पूरा होने के पश्चात सड़क मार्ग से कोयला परिवहन में भारी कमी आएगी और पर्यावरण में उल्लेखनीय सुधार होगा। श्री सिंह ने वर्ष 2023-24 में कंपनी के बढ़े उत्पादन लक्ष्य के परिप्रेक्ष्य में एनसीएल परियोजनाओं के विस्तार पर भी बात रखी।

सीएमडी भोला सिंह ने वर्ष 2021-22 के लिए निर्धारित लक्ष्य 119 मिलियन टन के सापेक्ष 122.43 मिलियन टन उत्पादन तथा पिछले वित्त वर्ष से रिकॉर्ड 17 मिलियन टन अधिक 125.66 मिलियन टन कोयला प्रेषण करने पर प्रसन्नता जाहिर की।

साथ ही उन्होंने बताया कि कंपनी ने वर्ष 2021-22 में कुल प्रेषण का 82 प्रतिशत कोयला रेल, एमजीआर और बेल्ट पाइप कन्वेयर के माध्यम से भेजा है और खुशी जताई कि कंपनी से संबद्ध सभी बिजली घरों के पास पर्याप्त कोयला उपलब्ध है।

इस दौरान श्री सिंह ने एनसीएल द्वारा किए गए वृक्षारोपण, ब्लास्टिंग रहित उत्पादन तकनीक के उपयोग, तय मानकों के अनुसार सुरक्षित ब्लास्टिंग, कंपनी की विस्थापन योजना, अधिभार से रेत निर्माण , अलग कोल कॉरिडॉर के निर्माण, आस पास के क्षेत्र में नई सड़कों के निर्माण, निरंतर पानी के छिड़काव, रोड स्वीपिंग मशीन एवं फॉग केनन मशीन के नियमित उपयोग व नयी मशीनों की प्रस्तावित खरीद , स्वास्थ्य सुविधाओं की बेहतरी, सिंगरौली परिक्षेत्र में पर्यटन व स्वच्छ ऊर्जा को बढ़ावा देने जैसे अनेक मुद्दों पर विस्तार से बात की।

उन्होंने बताया कि एनसीएल ने सीएसआर के तहत सिंगरौली में माइनिंग कॉलेज की स्थापना के लिए 75 करोड़ फंड का प्रावधान किया जिससे रोजगारपरक उच्च शिक्षा को बढ़ावा मिलेगा।

सीएमडी श्री सिंह ने विश्वास जताया कि एनसीएल बतौर एक अग्रणी कोल कंपनी, पर्यावरण तथा स्थानीय नागरिकों व भूधारकों के हितों को ध्यान में रखते हुए देश की ऊर्जा आत्मनिर्भरता सुनिश्चित करने में अपनी भूमिका निभाती रहेगी।

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