भारतीय शेयर बाजार (Indian stock market) में विदेशी निवेशकों की वापसी जोरदार ढंग से हुई है। शुक्रवार को फॉरेन पोर्टफोलियो इनवेस्टर्स (FPI) ने 8,831.1 करोड़ रुपए का निवेश किया, जो कि 27 मार्च के बाद अब तक का सबसे बड़ा निवेश है। इससे पहले गुरुवार को भी एफपीआई ने 5,746.5 करोड़ रुपए शेयर बाजार में डाले थे।
नेशनल सिक्योरिटी डिपॉजिटरी लिमिटेड (एनएसडीएल) के अनुसार, मई महीने में अब तक एफपीआई कुल 18,620 करोड़ रुपए का निवेश कर चुके हैं। अप्रैल में यह आंकड़ा 4,223 करोड़ रुपए था, जबकि जनवरी, फरवरी और मार्च में एफपीआई लगातार बिकवाली कर रहे थे। जनवरी में 78,027 करोड़ रुपए, फरवरी में 34,574 करोड़ रुपए और मार्च में 3,973 करोड़ रुपए की शुद्ध बिकवाली हुई थी।
शुक्रवार को एफपीआई के साथ-साथ घरेलू संस्थागत निवेशकों (डीआईआई) ने भी 5,187.1 करोड़ रुपए का शुद्ध निवेश किया। हालांकि विदेशी और घरेलू दोनों निवेशकों की भारी खरीदारी के बावजूद शेयर बाजार लाल निशान में बंद हुआ।
कारोबार के अंत में सेंसेक्स 200.15 अंक या 0.24 प्रतिशत की गिरावट के साथ 82,330.59 पर और निफ्टी 42.30 अंक या 0.17 प्रतिशत की गिरावट के साथ 25,019.80 पर बंद हुआ।
हालांकि लार्जकैप स्टॉक्स में कमजोरी रही, लेकिन मिडकैप और स्मॉलकैप शेयरों में मजबूत खरीदारी देखने को मिली। निफ्टी मिडकैप 100 इंडेक्स 529.65 अंक या 0.94 प्रतिशत चढ़कर 57,060.50 पर और निफ्टी स्मॉलकैप 100 इंडेक्स 320 अंक या 1.86 प्रतिशत चढ़कर 17,560.40 पर बंद हुआ।
बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (बीएसई) पर भी बाजार का व्यापक रुझान सकारात्मक रहा। कुल 2,607 शेयर हरे निशान में बंद हुए, जबकि 1,380 शेयरों में गिरावट और 139 शेयर बिना किसी बदलाव के बंद हुए।
एचडीएफसी सिक्योरिटीज के वरिष्ठ डेरिवेटिव और तकनीकी अनुसंधान विश्लेषक नंदीश शाह ने कहा कि निफ्टी का रुझान अब भी तेजी का है और यह अपने शॉर्ट-टर्म मूविंग एवरेज से ऊपर बना हुआ है। उन्होंने बताया कि निफ्टी के लिए 25,207 एक प्रमुख रुकावट स्तर है, जबकि 24,800 पर मजबूत सपोर्ट बना हुआ है।